रूस-यूक्रेन युद्ध को लेकर रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने स्वीकार किया कि उनकी सेना यूक्रेन में लंबे समय तक लड़ सकती है। उन्होंने युद्ध की अवधि के बारे में कहा, अभी यह कुछ समय और जारी रह सकता है। यह एक लंबी प्रक्रिया हो सकती है। पुतिन ने अपनी टिप्पणी में यह भी दोहराया कि परमाणु युद्ध का खतरा बढ़ गया है लेकिन रूस लापरवाही जैसे हथियारों के इस्तेमाल का खतरा पैदा नहीं करेगा।पुतिन ने कहा, हम पागल नहीं हुए हैं, हमें एहसास है कि परमाणु हथियार क्या होते हैं। हमारे पास ये साधन किसी भी अन्य परमाणु देश की तुलना में अधिक उन्नत और आधुनिक रूप में हैं, लेकिन हम इस हथियार को रेजर की तरह लहराते हुए दुनिया भर में नहीं दौड़ने वाले हैं। इससे पहले जर्मनी के चांसलर ओलाफ शोल्त्ज ने एक साक्षात्कार में कहा था कि अंतरराष्ट्रीय दबाव की प्रतिक्रिया में पुतिन के परमाणु हथियारों का इस्तेमाल करने का खतरा कम हो गया है।

पुतिन ने कहा, इस समय यूक्रेन में डेढ़ लाख पूर्णकालिक सैनिक तैनात हैं जिनमें से 77 हजार हमलावर दस्ते के जवान हैं। पुतिन ने यह बात टेलीविजन पर देश को संबोधित करते हुए कही। उन्होंने कहा कि पश्चिमी देश रूस के खिलाफ हर तरह का अभियान छेड़े हुए हैं। इसी के तहत वे रूस में मानवाधिकारों के हनन का दुष्प्रचार कर रहे हैं। सारे अभियान पर हमारा एक जवाब है कि रूस अपने राष्ट्रीय हितों के साथ समझौता नहीं करेगा। अपने राष्ट्रीय हितों की रक्षा के लिए हम किसी भी सीमा तक जाएंगे।

ड्रोन, मिसाइल आपूर्ति के लिए ईरान की मदद लेगा रूस : अमेरिका

यूक्रेन में युद्ध के लिए हथियारों की आपूर्ति बनाए रखने में संघर्ष कर रहा मॉस्को अब रूसी सेना को ड्रोन विमानों और सतह से सतह पर मार करने वाली मिसाइलों की आपूर्ति के लिए एक बार फिर ईरान का रुख कर सकता है। घटनाक्रम से वाकिफ दो अमेरिकी अधिकारियों ने यह जानकारी दी। राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद के अधिकारियों ने नाम न जाहिर करने की शर्त पर बताया कि अमेरिका इस बात को लेकर चिंतित है कि रूस आने वाले दिनों में ईरान से उन्नत पारंपरिक हथियार हासिल कर सकता है। रूसी सेना ईरान से सतह पर सतह पर मार करने वाली मिसाइलें खरीद कर सकती है। इस बीच, संयुक्त राष्ट्र के एक राजनयिक ने कहा कि ईरान ने सुरक्षा परिषद के वर्ष 2015 के प्रस्ताव का उल्लंघन करते हुए रूस को सैकड़ों मिसाइलें और ड्रोन विमान बेचने की योजना बनाई है। (एएमएपी)