ट्विटर के बाद दिग्गज सोशल मीडिया कंपनी फेसबुक की पेरेंट कंपनी मेटा में बड़े पैमाने पर छंटनी की खबर है। रिपोर्ट्स के मुताबिक मेटा में 09 नवंबर से बड़े पैमाने पर छंटनी की प्रक्रिया शुरू हो जाएगी। कंपनी दुनियाभर में करीब 12 हजार कर्मचारियों की छंटनी कर सकती है। मेटा में अभी 87,000 कर्मचारी हैं। इससे पहले ट्विटर इंक ने पिछले हफ्ते करीब 3700 कर्मचारियों को बाहर कर दिया है। इसके बाद कर्मचारियों की संख्या घटकर आधी रह गई है।दुनिया के सबसे बड़े रईस एलन मस्क के बाद मेटा प्लेटफॉर्म के मुख्य कार्यकारी अधिकारी (सीईओ) मार्क जुकरबर्ग भी बड़े पैमाने पर छंटनी की तैयारी कर रहे हैं। इस साल कंपनी के शेयरों में करीब 73 फीसदी की भारी गिरावट आई है। दरअसल फेसबुक यानी अब मेटा प्लेटफॉर्म्स को टिकटॉक और यूट्यूब जैसे प्लेटफॉर्म्स से कड़ी टक्कर मिल रही है।

जुकरबर्ग के पास मेटा प्लेटफॉर्म्स के करीब 16.8 फीसदी शेयर हैं। फेसबुक के रेवेन्यू में 97 फीसदी से ज्यादा हिस्सा विज्ञापनों से आता है। कंपनी के शेयरों में गिरावट से जुकरबर्ग की नेटवर्थ में गिरावट आई है। जुकरबर्ग एक समय दुनिया के अमीरों की सूची में तीसरे नंबर पर थे, लेकिन अब वे 29वें नंबर पर खिसक गए हैं। इस साल उनकी नेटवर्थ 90.3 अरब डॉलर की गिरावट के साथ 35.2 अरब डॉलर रह गई है।

कई परेशानियों से जूझ रही है कंपनी

बता दें कि जुकरबर्ग की कंपनी मेटा इन दिनों कई चुनौतियों से जूझ रही है। इनमें ग्लोबल इकोनॉमिक ग्रोथ चिंता, टिकटॉक से बढ़ती प्रतियोगिता, एपल की प्राइवेसी नीति में बदलाव, मेटावर्स पर हो रहा विशाल खर्च और रेग्युलेशन से जुड़ी बातें शामिल हैं। कंपनी के तिमाही नतीजों पर भी इन चुनौतियों का असर पड़ा है। अंक्तूबर से दिसंबर तिमाही में भी कमजोर नतीजे आने की आशंका है।

पहले ही दिए थे छंटनी के संकेत

मेटा के चीफ एग्जीक्यूटिव ऑफिसर मार्क जुकरबर्ग पहले ही बता चुके हैं कि कंपनी में किए गए निवेश का रिटर्न आने में एक दशक का समय लग सकता है। तब उन्हें हायरिंग रोकने, नए प्रोजेक्ट्स रोकने और लागत कम करने की कोशिशों पर काम करना पड़ेगा।

इनका स्वामित्व है मेटा के पास

छंटनी का नया दौर मेटा के लिए कुछ वित्तीय संकटों को कम कर सकता है। मेटा के पास वर्तमान में फेसबुक, व्हाट्सएप और इंस्टाग्राम सहित दुनिया के कुछ सबसे बड़े प्लेटफॉर्म्स का स्वामित्व है। कंपनी मेटावर्स पर खर्च बढ़ा रही है और घाटे के बावजूद उभरती हुई प्रौद्योगिकी की संभावनाओं के बारे में आशावादी बनी हुई है। (एएमएपी)