विपक्षी गठबंधन ‘इंडियन नेशनल डेवलपमेंटल इन्क्लूसिव अलायंस’ (इंडिया) के घटक दलों के नेताओं ने संसद की सुरक्षा में चूक के मामले को लेकर गुरुवार को एक बैठक की। यहां उन्होंने सरकार से आग्रह किया इस मुद्दे की गंभीरता को देखते हुए गृह मंत्री अमित शाह विस्तृत बयान दें । साथ ही दोनों सदनों में इस विषय पर चर्चा कराई जाए। विपक्षी दलों की यह भी मांग है कि लोकसभा की दर्शक दीर्घा से सदन में कूदने वाले व्यक्ति को पास दिलाने वाले भाजपा सांसद प्रताप सिम्हा के खिलाफ कार्रवाई की जाए। बता दें, नेताओं की बैठक कांग्रेस अध्यक्ष और राज्यसभा में नेता प्रतिपक्ष मल्लिकार्जुन खरगे के संसद भवन स्थित कक्ष में हुई।

ये नेता हुए शामिल

बैठक में कांग्रेस के खरगे और जयराम रमेश, द्रमुक से टी आर बालू और तिरूची शिवा, समाजवादी पार्टी के रामगोपाल यादव, तृणमूल कांग्रेस के डेरेक ओब्रायन, शिवसेना (यूबीटी) के संजय राउत, राष्ट्रीय जनता दल के मनोज झा तथा कई अन्य विपक्षी दलों के नेता शामिल थे।

सुरक्षा के लिए तुरंत उठाएं कदम: खरगे

इस बैठक के बाद खरगे ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर कहा, ‘संसद और सांसदों की सुरक्षा को देखते हुए विपक्ष और इंडिया गठबंधन की ओर से हम मांग करते हैं कि इस गंभीर मामले पर केंद्रीय गृह मंत्री एक बयान दें और उसके बाद इस संबंध में चर्चा की जाए।’ उन्होंने कहा कि संसद की सुरक्षा के लिए तुरंत जरूरी कदम उठाए जाएं।

सख्त कार्रवाई की जाए: रमेश

कांग्रेस महासचिव जयराम रमेश ने सोशल मीडिया पर कहा कि दोनों सदनों में गृह मंत्री एक विस्तृत बयान दें, जिसके बाद चर्चा हो। साथ ही उन्होंने सिम्हा के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने की मांग की। उन्होंने कहा कि मोदी सरकार ने इन मांगों को स्वीकार करने से इनकार कर दिया, जिसकी वजह से आज सुबह लोकसभा और राज्यसभा की बैठक में कामकाज नहीं हो पाया। खरगे सहित कई कांग्रेस सांसदों ने सदन के अन्य सभी कार्यों को अलग रखते हुए इस मुद्दे पर चर्चा करने के लिए लोकसभा और राज्यसभा दोनों में कार्य स्थगन का नोटिस दिया था।

इन लोगों ने दिया नोटिस

कांग्रेस सांसद मणिकम टैगोर ने लोकसभा में कार्य स्थगन नोटिस दिया, वहीं पार्टी सांसद और राज्यसभा में सचेतक सैयद नासिर हुसैन ने इस मुद्दे पर चर्चा के लिए नियम 267 के तहत उच्च सदन में समान कार्य स्थगन नोटिस दिया था। वहीं, पार्टी की एक अन्य सांसद जेबी माथेर हीशम ने भी इस मुद्दे पर चर्चा के लिए राज्यसभा में नियम 267 के तहत नोटिस दिया था। कुछ विपक्षी दल सुरक्षा चूक के मुद्दे पर राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू से मिलने और उनसे हस्तक्षेप की मांग करने पर भी विचार कर रहे हैं क्योंकि यह सभी सांसदों की सुरक्षा से जुड़ा हुआ विषय है।

शून्यकाल के दौरान हुई घटना

दरअसल, बुधवार को संसद में शून्यकाल के दौरान दो व्यक्ति सार्वजनिक गैलरी से लोकसभा कक्ष में कूद गए और वहां, स्मोक अटैक करके अफरा-तफरी का माहौल पैदा कर दिया। आरोपियों को सांसदों ने पकड़ने की कोशिश की, तो उस दौरान दोनों नारे लगाने लगे। ठीक इसी समय, बाहर की ओर भी एक युवक और एक महिला ने संसद परिसर के बाहर ‘तानाशाही नहीं चलेगी’ के नारे लगाते हुए गैस का छिड़काव किया।

कांग्रेस ने अमित शाह से मांगा जवाब

इस पूरे मामले के बाद, कांग्रेस ने मांग की है कि, गृह मंत्री राज्यसभा में आएं और बयान दें। इसके साथ ही बाद में कांग्रेस विरोध में उच्च सदन से बाहर चली गई। एआईसीसी महासचिव जयराम रमेश ने एक्स पर एक पोस्ट में कहा, “लोकसभा में आज हुई असाधारण घटना और सुरक्षा चूक में इतने बड़े उल्लंघन को लेकर गृह मंत्री ने इस मामले पर बयान देने से इनकार कर दिया। इसके बाद INDIA दलों ने इस मुद्दे पर सदन से वॉक आउट कर दिया। उन्होंने कहा कि, 22 साल पहले आज के दिन ही संसद पर हमला हुआ था।

पीएम मोदी पर भी साधा निशाना

प्रधानमंत्री मोदी पर भी स्पष्ट रूप से निशाना साधते हुए, कांग्रेस ने एक पोस्ट अपडेट किया,  जिसमें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और भाजपा सांसद प्रताप सिम्हा की साथ वाली तस्वीर लगाई है। तस्वीर पर कैप्शन में कांग्रेस ने लिखा, ना ही वहां कोई घुस आया है, ना ही वहां किसी ने किसी को घुसाया है।

खड़गे ने कही ये बात

एक्स पर एक पोस्ट में पार्टी अध्यक्ष और राज्यसभा में विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा कि संसद में हुआ सुरक्षा उल्लंघन बहुत गंभीर मामला है। उन्होंने कहा, “हम मांग करते हैं कि गृह मंत्री को दोनों सदनों में आकर इस पर बयान देना चाहिए। सवाल यह है कि इतनी बड़ी सुरक्षा के बावजूद दो लोग अंदर कैसे आए और वहां स्मोक अटैक किया। “आज शहीद दिवस पर हमने 22 साल पहले संसद पर हुए हमले में अपनी जान गंवाने वाले बहादुर सुरक्षाकर्मियों को श्रद्धांजलि दी। हमें उम्मीद है कि सरकार इसे बहुत गंभीरता से लेगी। हम पूरी घटना की गहन जांच की मांग करते हैं। हम उन्होंने लिखा, ”हमेशा देश की एकता और अखंडता चाहते हैं।

सुरक्षा व्यवस्था की हो गहन समीक्षा

एआईसीसी महासचिव केसी वेणुगोपाल ने भी संसद में सुरक्षा व्यवस्था की गहन समीक्षा की मांग की। “लोकसभा में घुसपैठ बेहद परेशान करने वाली है, खासकर 2001 के संसद हमले की बरसी पर मुझे खुशी है कि किसी को कोई बड़ी चोट या क्षति नहीं हुई। उन्होंने कहा, “संसद हमारे देश की सबसे उच्च सुरक्षा वाली इमारतों में से एक है। इतनी बड़ी सुरक्षा चूक अस्वीकार्य है। हम गृह मंत्रालय से जवाब मांगते हैं और नए संसद भवन में सुरक्षा व्यवस्था की गहन समीक्षा होनी चाहिए।

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2001 में हुआ था संसद पर हमला

लोकसभा में कांग्रेस नेता अधीर रंजन चौधरी ने कहा कि 2001 में संसद पर हुए हमले की बरसी पर यह संसद के अंदर एक बड़ा सुरक्षा उल्लंघन था। उन्होंने कहा, “हालांकि हम इस बात से सहमत हैं कि यह हमला उस हमले जैसा नहीं है, लेकिन क्या इससे यह साबित नहीं होता कि जरूरी सावधानियां नहीं बरती गईं।” एक्स पर एक पोस्ट में, कांग्रेस सांसद गौरव गोगोई ने कहा, “दो युवकों को संसद गैलरी के अंदर स्मोक छोड़ते देखा। सांसद इन लोगों को पकड़ने के लिए दौड़े। एक व्यक्ति कुछ नारे लगा रहा था।

अचानक फैलाया पीला धुआं

पार्टी सांसद कार्ति चिदंबरम ने कहा कि सदन में शून्यकाल चल रहा था और वह बोलने के लिए अपनी बारी का इंतजार कर रहे थे। उन्होंने बताया कि अचानक ऐसा लगा कि एक व्यक्ति दर्शक दीर्घा से नीचे गिर गया है। उन्होंने कहा, “तब हमें एहसास हुआ कि किसीने जानबूझकर वेल में छलांग लगाई थी। वहां एक और व्यक्ति था, उन दोनों ने स्मोक अटैक कर दिया, जिनसे पीला धुंआ फैल गया। कांग्रेस प्रवक्ता सुप्रिया श्रीनेत ने कहा, “दो लोग सदन में घुसे और उसे ‘धुएं’ से भर दिया। आज संसद पर आतंकी हमले की 22 वीं बरसी है और आज भी संसद की सुरक्षा में इतनी बड़ी चूक कैसे संभव है?” उन्होंने पूछा, “आखिर ये कौन लोग थे जिनके प्रवेश पास भाजपा के मैसूर सांसद प्रताप सिम्हा ने बनाए थे।

यह है मामला

गौरतलब है, बुधवार को संसद की सुरक्षा में चूक से जुड़े मामले को दिल्ली पुलिस ने यूएपीए की धारा के तहत दर्ज कर जांच शुरू कर दी है। इस प्रकरण में दिल्ली पुलिस की खासी किरकिरी हुई है और संसद की सुरक्षा को लेकर कई सवाल खड़े हो गए हैं। सुरक्षा के पुख्ता सुरक्षा इंतजाम के बावजूद लखनऊ निवासी सागर शर्मा और मैसूर निवासी डी. मनोरंजन संसद में जूते में छिपाकर स्मोक केन (धुआं बम) लेकर घुस गए थे। वहीं, संसद के बाहर पुलिस के सामने ही नीलम व अमोल शिंदे ने पीले व लाल रंग के स्मोक केन चला दिए और पुलिस उन्हें रोक नहीं पाई थी।इन सब के बीच लोकसभा की दर्शक दीर्घा में मौजूद प्रत्यक्षदर्शियों का कहना था कि वह लोकसभा की कार्यवाही देखने आए थे। सभी लोग चुपचाप बैठे थे। अचानक दो प्रदर्शनकारी उठे और गैलरी से कूद कर सदन कक्ष में चले गए। इसके बाद सांसदों में अफरा-तफरी मच गई थी।(एएमएपी)