रूस और यूक्रेन के बीच युद्ध की शुरुआत हुए एक साल से अधिक समय हो चुका है, लेकिन अब तक कोई भी नतीजा नहीं निकल सका। रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के निर्देश पर अब तक यूक्रेन के कई शहरों को मिसाइलों के जरिए तबाह किया जा चुका है, जिसमें बड़ी संख्या में लोगों की जान गई है। यूक्रेन युद्ध को लेकर अब रूसी राष्ट्रपति पुतिन की मुश्किलें बढ़ती दिख रही हैं। इंटरनेशनल क्रिमिनल कोर्ट (ICC) ने रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के खिलाफ यूक्रेन में किए गए युद्ध अपराधों के लिए जिम्मेदार होने का आरोप लगाते हुए गिरफ्तारी वारंट जारी किया है। हालांकि, मॉस्को ने इस कदम को निरर्थक करार दिया।युद्ध के दौरान रूसी सैनिकों पर यूक्रेन में अत्याचार करने के आरोप लगते रहे हैं, जिसका उसने बार-बार खंडन किया है। कोर्ट ने बच्चों के अवैध निर्वासन और यूक्रेन के क्षेत्र से रूस में लोगों के अवैध ट्रांसफर के संदेह में पुतिन की गिरफ्तारी का वारंट जारी किया है। अदालत ने रूस की बाल अधिकार आयुक्त मारिया लावोवा-बेलोवा के खिलाफ भी इन्हीं आरोपों पर वारंट जारी किया है। रूसी विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता मारिया ज़खारोवा ने अपने टेलीग्राम चैनल पर कहा, “इंटरनेशनल क्रिमिनल कोर्ट के फैसलों का हमारे देश के लिए कोई मतलब नहीं है, जिसमें कानूनी दृष्टिकोण भी शामिल है।”

कोर्ट के फैसले से गदगद यूक्रेन, की सराहना

उन्होंने आगे कहा कि रूस अंतर्राष्ट्रीय आपराधिक न्यायालय के रोम कानून का पार्टी नहीं है और इसके तहत कोई दायित्व नहीं बनता। वहीं, यूक्रेन के वरिष्ठ अधिकारियों ने ICC के फैसले की सराहना की। देश के अभियोजक जनरल एंड्री कोस्टिन ने इसे यूक्रेन और संपूर्ण अंतरराष्ट्रीय कानून प्रणाली के लिए ऐतिहासिक बताया। चीफ ऑफ प्रेसिडेंशियल स्टाफ एंड्री एर्मक ने कहा कि वारंट जारी होना सिर्फ शुरुआत है। आईसीसी अभियोजक करीम खान ने एक साल पहले यूक्रेन में संभावित युद्ध अपराधों, मानवता के खिलाफ अपराधों और नरसंहार की जांच शुरू की थी।

रूस पर यूक्रेन में युद्ध अपराध करने का आरोप

कोर्ट का यह कदम उस घटना के एक दिन बाद आया, जब एक यूएन-शासित इन्वेस्टिगेटिव बॉडी ने रूस पर यूक्रेन में व्यापक युद्ध अपराध करने का आरोप लगाया, जिसमें जानबूझकर हत्याएं और यातनाएं शामिल हैं। साथ ही, कुछ मामलों में बच्चों को अपने प्रियजनों के साथ बलात्कार होते हुए देखना और शवों के साथ दूसरों को हिरासत में लेना शामिल है। वहीं, इन सबके बीच रूस ने चीन के साथ अपने रिश्तों को और मजबूत करना शुरू कर दिया है। अगले हफ्ते चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग रूस का अहम दौरा करने जा रहे हैं, जिसके बाद माना जा रहा है कि उसके रिश्ते अमेरिका समेत पश्चिमी देशों से और खराब हो सकते हैं।(एएमएपी)