ज्ञानवापी परिसर में ज्ञानवापी मस्जिद परिसर को सील करने और गैर हिंदुओं के प्रवेश पर रोक लगाने सम्‍बन्‍धी जनहित याचिका को इलाहाबाद हाईकोर्ट ने वापस लिए जाने के आधार पर खारिज कर दिया है। यह आदेश मुख्य न्यायमूर्ति प्रीतिंकर दिवाकर और न्यायमूर्ति आशुतोष श्रीवास्तव की खंडपीठ ने मंगलवार को दिया। वाराणसी की अदालत में शृंगार गौरी की नियमित पूजा की अनुमति के लिए मुकदमा दाखिल करने वाली राखी सिंह, जितेंद्र सिंह बिसेन और अन्य की ओर से दाखिल जनहित याचिका में कहा गया था कि शृंगार गौरी केस में जब तक वाराणसी की अदालत का फैसला नहीं आ जाता, तब तक परिसर में गैर हिंदुओं का प्रवेश प्रतिबंधित किया जाए और ज्ञानवापी परिसर में मिले हिंदू प्रतीक चिह्नों को संरक्षित रखने का आदेश दिया जाए।उधर, ज्ञानवापी परिसर में एएसआई सर्वे लगातार पांचवें दिन जारी है। मंगलवार को सुबह आठ बजे से एएसआई टीम सर्वे में जुटी हुई है। हाईकोर्ट में दाखिल याचिका में ज्ञानवापी परिसर में मिले हिंदू प्रतीक चिन्हों को संरक्षित रखने का आदेश जारी करने का भी अनुरोध किया गया था। अदालत से इस तरह की व्‍यवस्‍था देने की भी मांग की गई थी जिससे ज्ञानवापी में एएसआई सर्वे का काम प्रभावित न हो। याचिकाकर्ताओं की ओर से अधिवक्ता सौरभ तिवारी ने यह याचिका दाखिल की थी। इस पर चीफ जस्टिस प्रीतिंकर दिवाकर और जस्टिस आशुतोष श्रीवास्तव की डिवीजन बेंच ने सुनवाई की।

 

लगातार जारी है एएसआई सर्वे

ज्ञानवापी परिसर का एएसआई सर्वे लगातार छठवें दिन मंगवालर को भी जारी है। सूत्रों के अनुसार रविवार तक ज्ञानवापी परिसर की जांच के बाद सोमवार को एएसआई की टीम उत्तरी तहखाने में पहुंची थी। वहां दीवारों और खम्भों पर सामने दिखे धार्मिक प्रतीकों की मैपिंग की गई। उत्तरी तहखाने की सफाई नहीं होने से सोमवार को टीम का ज्यादातर समय फोटो और वीडियोग्राफी में ही निकल गया था। तहखाने में मिले धार्मिक चिह्न कोर्ट कमीशन सर्वे के दौरान भी सामने आये थे। इन चिह्नों को लेकर हिन्दू पक्ष ने अलग-अलग दावे किये थे। तहखाने की छत और खम्भों की बनावट पर टीम ने सोमवार को अपनी जांच केंद्रित रखी थी।

चमकने लगा दक्षिणी तहखाना

ज्ञानवापी परिसर स्थित दक्षिणी तहखाने की सफाई कर दी गई है। वह प्रकाश में चमकने लगा। सोमवार को सर्वे टीम ने तहखाने की कोडिंग की थी और नक्शा बनाया था। मलबों के भी सैंपल लिए गए थे। यहां लगातार तीसरे दिन जांच चली। शाम पांच बजे परिसर से बाहर निकले हिन्दू पक्ष का कहना था कि सर्वे में क्या मिला, क्या नहीं-यह एएसआई के अधिकारी ही बता पाएंगे।(एएमएपी)