एक वयस्क मनुष्य को स्वस्थ रहने के लिए रात में साढ़े सात से आठ घंटे सोना चाहिए… लेकिन एक ताज़ा शोध में ये तथ्य सामने आया है कि तकरीबन 59 फ़ीसदी लोग रात में सात घंटे या उससे भी कम सोते हैं… जो अच्छी ख़बर नहीं है, क्योंकि कम सोना कई बीमारियों को बुलावा देना है…
विशेषज्ञों का कहना है कि कम सोने का एक बहुत बड़ा कारण गैजेट्स का बढ़ता उपयोग है… रात में सोते वक़्त अपने टैबलेट, मोबाइल या आईपैड पर गेम खेलना या इंटरनेट पर व्यस्त रहने के कारण नींद कम हो जाती है…
दरअसल इन गैजेट्स से निकलने वाली नीली रोशनी उनींदापन कम कर देती है… जिसकी वजह से नींद आनी बंद हो जाती है…
हर्टफ़ोर्डशायर विश्वविद्यालय के प्रोफ़ेसर और मनोवैज्ञानिक रिचर्ड वाइज़मैन का कहना है कि सोने से पहले गैजेट्स के इस्तेमाल से नींद पर बुरा असर होता है… और कम सोने से मधुमेह, कैंसर और मोटापे जैसी गंभीर बीमारियों का खतरा बढ़ जाता है…
प्रोफ़ेसर वाइज़मैन ने अपनी किताब ‘नाइट स्कूल’ में लिखा है कि इन उपकरणों से निकलने वाली नीली रोशनी नींद पैदा करने वाले हॉरमोन मेलाटोनिन के उत्पादन को कम कर देती है… इसलिए सोने से कुछ घंटे पहले से ही इन उपकरणों का उपयोग कम कर देना चाहिए…
चिंता की बात ये भी है कि एक साल के अंदर गैजेट्स की गिरफ्त में कैद लोगों की संख्या तेजी से बढ़ी है… पिछले वर्ष किए गए रिसर्च में कम सोने वाले लोगों की संख्या 39 फ़ीसदी थी… एक साल में ही इस आंकड़े में 20 फ़ीसदी का इज़ाफ़ा हो गया…
रात में सोते वक़्त टीवी देखना भी सोने में मुश्किलें पैदा करता है… इसिलए मनोवैज्ञानिक वाइज़मैन सलाह देते हैं कि जिन्हें कम नींद की समस्या है उन्हें अपने बेडरूम से सभी गैजेट्स बाहर कर के सोना चाहिेए…
नींद नहीं आने की स्थिति में दिमाग़ को थकाने वाली एक्सरसाइज़ भी काफी काम आती है… जैसे ए से ज़ेड तक सभी अल्फ़ाबेट से पशु-पक्षियों का नाम सोचना… अच्छी नींद के लिए ज़रूरी है कि आप चिंतामुक्त भी रहें… इसलिए सोने से पहले अगले दिन करने वाले कामों की सूची बनाने की आदत डालें… इससे आप तनावमुक्त रहेंगे… और पूरी नींद सो सकेंगे…
सेहतमंद नींद के लिए सोने से पहले केला खाने से भी फ़ायदा होता है… केले में नींद को बढ़ाने वाले कार्बोहाइड्रेट्स और मांसपेशियों को आराम पहुंचाने वाले मिनरल होते हैं….